देसी चूत चुदाई कहानी में मुझे अपने कॉलेज का एक लड़का पसंद आ गया उसे हर लड़की पसंद करती थी आखिर एक दिन उसने खुद से मुझे प्रोपोज किया आप सभी को मेरा नमस्कार मेरा नाम जिया है और मैं दिल्ली की रहने वाली हूँ।
मैं नियमित रूप से इसमें कहानी पढ़ती हूं और अपनी चूत सहलाती हूँ मैंने बहुत सी कहानियां पढ़ी हैं जिसकी वजह से मेरी कामुकता और बढ़ गई है मैं बस चुदाई के बारे में सोचती हूँ और चुदवाना चाहती हूँ।
topcityescort.com सेक्स कहानी की साइट पर ये मेरी पहली और सच्ची देसी चूत चुदाई कहानी है दिल्ली की अधिकतर लड़कियां चूत चुदवाने के लिए सदैव रेडी रहती हैं मैं भी उन्हीं में से एक हूँ मैं अब तक काफी किस्म के लंडों से चुदवा चुकी हूँ।
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काले गोरे मोटे छोटे लंबे मैंने कई लंड चखे हैं वैसे मैं अपने शरीर के बारे में बता दूँ मेरा रंग एकदम गोरा और चिकना है मेरे बूब्स की साइज 32 कमर 28 और हिप्स 34 के हैं सड़क चलते हुए लोग मुझे देख कर अपना लंड सहलाते हैं।
आज मैं आपको मेरी पहली चुदाई के बारे में बता रही हूँ यह उन दिनों की बात है जब मैं कॉलेज में नई नई दाखिल हुई थी तब मैं 19 साल की एकदम कड़क माल लगती थी हर लड़का मुझसे दोस्ती करना चाहता था लेकिन मैं किसी को भाव नहीं देती थी।
मुझे डीप गले वाले और छोटे कपड़े पहनना पसंद था मैं अक्सर ही वैसे कपड़े पहन कर कॉलेज जाती थी जिसकी वजह से मेरे आधे चूचे बाहर निकले दिखते थे हर कोई मेरे चूचों को ही घूरता था यहां तक कि मेरे कॉलेज के प्रोफेसर भी मुझे वासना भरी नजर से घूरते थे।
सब मुझे चोदना चाहते थे उनको देख कर ऐसा लगता मानो मुझे यहीं पकड़ कर चोद देंगे हमारे कॉलेज में एक लड़का था जो बहुत हैंडसम था. वह हमारा सीनियर था, उसका नाम श्रेय था वह हर लड़की का क्रश था।
श्रेय सिर्फ दिखने में नहीं, बल्कि हर तरह से परफेक्ट था पढ़ाई, स्पोर्ट और उसका लुक ओह गॉड मैं भी उस पर मरती थी मेरी ओर श्रेयांस की आंखें बहुत बार मिलतीं पर हम दोनों कुछ कहे बिना बस एक दूसरे में खोए रहते कुछ कहे बिना चले जाते।
एक दिन ऐसा आया कि श्रेय मेरे पास आया और उसने मुझे गुलाब देकर कहा-आई लव यू बस फिर क्या था मैंने झट से हां कह दिया हम दोनों बहुत खुश थे और रोजाना काफी देर देर तक बात करने लगे हमारा काम सुबह शाम रात सिर्फ एक दूसरे से बात करना ही रह गया था।
एक दिन उसने मुझसे कहा- क्या हम बाहर मिल सकते हैं मैं समझ गई कि बंदे को सेक्स चाहिए पर मैं इतनी आसानी से अपनी चूत कैसे दे सकती थी पहले तो मैंने मना कर दिया- नहीं हम लोग बाहर नहीं मिलेंगे उसने फिर से कहा- अरे मैं ऐसा वैसा कुछ नहीं करूंगा यार ट्रस्ट मी।
मैंने कहा- फिर बाहर क्यों तुम्हारे घर पर ही मिल लेते हैं क्योंकि मुझे बाहर किसी होटल में जाना नहीं था इसलिए मैंने उसे घर का ही कहा वह चुप रहा मैंने कहा- अगले महीने तुम्हारे बर्थडे पर मिलेंगे तुम्हारे घर ही आ जाऊंगी।
बेचारा शॉक्ड हो गया और कहने लगा- अगला महीना आने में अभी 25 दिन बाकी हैं तब तक कैसे कंट्रोल करूं मैंने मजा लेते हुए कहा- करना ही पड़ेगा सब्र का फल मीठा होता है वह कहने लगा- फल मीठा ही होगा इसकी क्या गारंटी है।
मैं सुनकर चुप रही लेकिन फल मीठा हो इसके लिए मन बनाने लगी बातों ही बातों में उसने भी समझ लिया था कि सब्र का फल मीठा हो सकता है इसी तरह से दिन निकलते गए और श्रेय का जन्मदिन आ गया।
हम दोनों बहुत खुश थे क्योंकि आज मेरी पहली चुदाई होने वाली थी मैं मस्त डीप नेक वाली शॉर्ट ड्रेस पहन कर गई मैंने घर पर अपनी एक सहेली का नाम लेकर कहा कि आज मैं उसी के घर पर रहूंगी बस मैं अपने घर से अपने लवर के घर चली गई।
रास्ते में मैंने गिफ्ट लिया और श्रेय के घर पहुंच गई उसके घर के बाहर आते ही मैंने उसे फोन लगाया उसने दरवाजा खोला श्रेय के घर के लोग उस दिन घर पर नहीं थे वे सब टूर पर गए थे यह श्रेय की प्लानिंग का ही हिस्सा था।
मुझे मन ही मन बहुत खुशी हो रही थी कि सुनसान घर में खुल्लम खुल्ला चुदाई का खेल होगा मैंने बर्थडे बॉय को विश किया और अन्दर आ गई श्रेय उस दिन बहुत हैंडसम लग रहा था मैंने उसे गिफ्ट में एक शर्ट और स्मार्ट वॉच दी।
उसे गिफ्ट बहुत अच्छा लगा फिर हम दोनों ने केक कट किया और एक दूसरे को खिलाया बाद में श्रेय ड्रिंक की बॉटल ले आया था तो हम दोनों ने दो दो पैग मारे मुझे जल्द ही नशा हो गया और मैं श्रेय की गोद में आकर बैठ गई और हम दोनों एक ही गिलास से ड्रिंक करने लगे।
कुछ ही पलों में मुझे अपनी गांड में कुछ कड़क कड़क सा महसूस हुआ जो श्रेय का सात इंच का लंड था मुझे अपनी गांड में उसके लंड की चुभन से बहुत अच्छा लग रहा था मैं जानबूझ कर उसके लंड पर अपनी गांड घिसती हुई आगे पीछे होने लगी।
इस वजह से श्रेय भी बहुत गर्म हो गया था श्रेय ने तुरंत मुझे अपनी ओर खींचा और मेरे होंठ चूमने लगा मैं भी उसका साथ देने लगी और अपनी गांड उसके लंड पर हिलाती रही वह मुझे और जोर से चूमने लगा उसका एक हाथ मेरे बालों को पकड़े हुए था और दूसरा हाथ मेरे मम्मों पर था।
वह मेरे मम्मों को दबाता और मुझे किस करता हुआ मेरे होंठों को काट रहा था मेरे आधे चूचे बाहर होने की वजह से वह अपना मुँह मेरे मम्मों के बीच में डालकर मुझे चूम रहा था उसकी इस हरकत से मैं बहुत ही ज्यादा गर्म हो चुकी थी।
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फिर उसने मुझे जीभ को मुँह के अन्दर डालकर किस करना चालू किया यह और भी ज्यादा गर्म कर देने वाला अहसास था हम दोनों किस करते करते कब खड़े हो गए, कुछ पता ही नहीं चला उसने मुझे दीवार से सटा दिया।
फिर मेरी ड्रेस की चैन खोली और ड्रेस निकाल दी मैंने भी उसकी शर्ट को निकाल कर फेंक दिया जल्द ही मैं उसके सामने ब्रा पैंटी में थी वह मेरे दोनों हाथ दीवार से लगा कर मुझे किस करने लगा मेरे गले पर दोनों गालों पर दोनों मम्मों पर उसने बहुत सारे किस किए।
चूमने के साथ साथ उसने बहुत सी जगह अपने दांत गड़ा कर लव बाईट भी की जिसकी वजह से मेरे जिस्म पर लाल लाल निशान बन गए उसके काटने से मुझे मीठा मीठा दर्द का अहसास हो रहा था मेरे मुँह से मादक सिसकारियां निकल रही थीं।
मैं खुद को ढीली छोड़ कर उसके चुंबनों और कट्टुओं का मजा ले रही थी कुछ देर बाद मैंने श्रेय का पैंट उतारा वह सिर्फ अंडरवियर में रह गया श्रेय मेरी ब्रा निकाल कर बूब्स चूस रहा था वह बारी बारी से मेरे दोनों निपल्स चूस रहा था और उन्हें काट रहा था।
आह क्या बताऊं मैं मैं बस कामुक सी आवाजें निकाल रही थी मैं अपने दांतों से होंठों को काटती हुई श्रेय को बोले जा रही थी- आह्ह्ह उम्म्म बस ऐसे ही मेरे दूध पीते रहो ऐसे ही इन्हें प्यार करो आह्ह्ह दूध पी पी कर सारा रस निकाल दो श्रेय उम्म।
वहीं उसका दूसरा हाथ मेरी चूत पर जम गया था वह मेरी चूत को सहला रहा था उस वजह से मैं और कामुक हो गई और उसका सर पकड़ कर अपने दोनों दूध के बीच दबाने लगी आह्ह्ह्ह ह्ह दोस्तो मुझे आज भी वह अहसास याद है।
आज भी वह याद करके मेरी चूत पानी छोड़ने लगती है मेरा एक हाथ श्रेय के कच्छे के ऊपर था ऊपर से मैं उसका लंड सहला रही थी श्रेय मुझे और जोर से काटता. मेरे दूध और जोर से दबाता उम्म्म्म मैंने अपने दोनों हाथ से अपने चूचों को एक साथ जोड़ा और दबाया।
ताकि वह मेरे दोनों निपल्स को साथ में चूस सके आह्ह्ह्ह मेरे मुँह से बस कामुक सिसकारियां निकल रही थीं मैं इतने में ही एक बार झड़ जुकी थी बाद में मैंने श्रेय का अंडरवियर निकाला और नीचे घुटनों के बल बैठ गई उसके लंड के सुपारे को अपने होंठों से चूसने लगी।
कुछ देर तक मैंने सुपारे को चूसा बाद में धीरे धीरे कर उसका पूरा लंड मुँह में ले लिया और चूसने लगी जब मैंने लंड मुँह में लिया श्रेय मानो स्वर्ग में आ गया वह मेरे बालों को पकड़ कर अपना लंड गले तक डाल कर मेरे मुँह को चूत समझ कर चोद रहा था।
वह ऐसा कर रहा था जिससे मैं बहुत ज्यादा दर्द भरा मजा महसूस कर रही थी अपने सनम से दर्द पाकर मुझे दुनिया का वह सुख मिल रहा था जिसके लिए हर लड़की सपने देखती है मैं भी उसका लंड चूसने लगती कभी लंड की दोनों गोटियों को बारी बारी से चूसती जीभ से लंड को चाटती।
इस बार श्रेय आह्ह्ह उह की आवाज़ें निकाल रहा था- आह डार्लिंग चूसो इसे और जोर से चूस लो सारा रस निकाल दो माय स्वीटहार्ट यही मेरे लिए आज का सबसे बड़ा गिफ्ट है बेबी आई लव यू कैरी ऑन बेबी मैंने लंड को ओर अन्दर तक लेकर चूसना चालू कर दिया।
श्रेय और ज्यादा गर्म हो गया और दो मिनट के बाद मेरे मुँह में झड़ गया पहली बार में उसके लंड से निकले वीर्य का स्वाद मुझे अच्छा नहीं लगा पर फिर भी मैंने पी लिया बाद में श्रेय मुझे गोद में उठा कर रूम में ले गया।
उसने मुझे बेड पर लिटाया और मेरे ऊपर आकर किस करने लगा किस करते करते वह मेरी कमर पर आ गया वह मुझे उधर किस करने लगा मैं तो मानो जैसे पागल सी हुई जा रही थी उसने पैरों से शुरुआत की और मेरी जांघ तक चूमता गया।
उसने सभी जगह किस किया उससे खुद को चुसवा कर मैं पागल हो रही थी फिर उसने मेरी चूत को हाथ से सहलाया और मेरी पैंटी निकाल दी अब मेरी चिकनी चूत उसके सामने खुली हुई थी श्रेय फिर से मेरी जांघ पर किस करने लगा और उसने धीरे धीरे मेरी चूत पर अपना मुँह रख दिया।
अपनी चूत पर एक मर्दाना अहसास पाते ही मैं कलप उठी आह्ह्ह्ह् मैं अब सातवें आसमान पर थी उसने मेरी चूत चाटना शुरू कर दिया, चूत को जीभ से चोदने लगा और मैं और पागल हो गई मैंने श्रेय का सर पकड़ा और अपनी चूत को जांघों से सटा कर रखा।
उस टाइम मैं पुन झड़ गई उसने मेरा सारा चूत रस पी लिया और मैं शांत हो गई फिर वह पुनः ऊपर आकर दूध पीने लगा मैं फिर से गर्म हुई इस बार उसने अपना कड़क लंड मेरी चूत पर रखा मुझे बहुत ही अच्छा महसूस हुआ।
मैंने कहा- बेबी प्लीज अब और इंतजार नहीं प्लीज मुझे चोदो मेरी चूत को शांत कर दो आह अपना लंड मेरी चूत में डाल दो प्लीज श्रेय ने अपना लंड मेरी चूत में डालना शुरू कर दिया पहले उसका ऊपर का लाल सुपारा अन्दर गया और मुझे दर्द होने लगा।
मैं चिल्ला उठी- आह निकालो बाहर इसे श्रेय ने मेरे मुँह पर हाथ रखा और कहा- बेबी फर्स्ट टाइम दर्द होता है फिर मजे ही मजे आने हैं मैंने कहा- नहीं मुझे दर्द हो रहा है जान निकालो लेकिन श्रेय माना ही नहीं उसने धीरे धीरे करके पूरा लंड अन्दर डाल दिया।
इसी वजह से मैंने उसकी छाती पर नाखून भी मार दिए मगर उसे कोई फर्क नहीं पड़ा धीरे धीरे वह लंड अन्दर बाहर करने लगा इस वजह से मुझे धीरे धीरे अच्छा लगने लगा और मैं मादक सिसकारियां लेने लगी- आह्ह आह्ह्ह।
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अब श्रेय को समझ में आ गया था कि मेरी चूत लंड लेने को तैयार है उसने अपनी स्पीड बढ़ाई और मुझे और जोर जोर से चोदने लगा आह्ह्ह्ह उम्मम्म की आवाज़ें कमरे को भरने लगीं और चूत लंड के मिलाप की फच्च फच वाली आवाज़ें पूरे रूम में भरने लगीं।
करीब 20 मिनट तक श्रेय ने मुझे चोदा और उस देसी चूत चुदाई में मैं दो बार झड़ चुकी थी इसके बाद श्रेय भी झड़ने को आया उसने लंड चूत से निकाल कर सारा वीर्य मेरे मुँह पर छोड़ दिया।
इस बार मुझे उसका वीर्य अच्छा लगा और मैं कुछ माल उंगली से उठा कर खा गई उस दिन श्रेय ने पूरी रात में मुझे 3 बार चोदा और सुबह होते ही चाय नाश्ता करके मैं उसके घर से चली गई आपको मेरी देसी चूत चुदाई कहानी कैसी लगी, कमेंट में जरूर बताएं।